कांग्रेस व बीजेपी के प्रत्याशी घोषित, 15 जून को बसपा करेगी सिंगरौली प्रत्याशी का नाम सार्वजनिक
1—- बंशरूप शाह, सुरेश शाह, परमहंस लगनधारी वर्मा व शिवशंकर में से कोई होगा प्रत्याशी
बंशरूप व सुरेश शाहवाल प्रबल दावेदार
सिंगरौली 14 जून सिंगरौली अनारक्षित सीट पर बसपा में दो प्रबल सहित पांच दावेदारों के नामों की सूची लगभग तैयार है। आज बीजेपी ने सिंगरौली प्रत्याशी चंद्रप्रताप विश्वकर्मा के नाम पर अंतिम मुहर लगाकर कर सस्पेंस पर विराम लगा दिया है। कांग्रेस व बीजेपी के बाद अब सभी की निगाहें बसपा पर टिकी है। जिलाध्यक्ष राधिका वर्मा की माने तो बसपा प्रत्याशी का नाम 15 जून को सार्वजनिक हो जायेगा। बसपा में शुरू से ही अनारक्षित महापौर सीट पर सामान्य समाज से किसी दावेदार की दावेदारी नही होने से ओबीसी समाज से बसपा के वरिष्ठ नेता व पूर्व जिलाध्यक्ष बंशरूप शाह , पूर्व सिंगरौली विधान सभा प्रत्याशी सुरेश शाहवाल जहां प्रबल दावेदार है वहीं सिस्टा के राष्ट्रीय महासचिव परमहंस प्रसाद , लगनधारी वर्मा पूर्व नेता प्रतिपक्ष ननि व शिवशंकर प्रसाद पूर्व देवसर विधान सभा प्रत्याशी ने अपनी अपनी दावेदारी ठोकी है। बसपा में बगैर किसी विरोध के ओबीसी या एस सी समाज में से दावेदारी कर रहे पांच दावेदारों में से किसी एक दावेदार को 15 जून को टिकट मिल सकता है। बसपा में प्रबल दावेदार में बसपा के वरिष्ठ नेता व पूर्व जिलाध्यक्ष बंशरूप शाह पहले नंबर पर हैं। बसपा में इनका जहां एक लंबा कार्यकाल रहा है वही पार्टी के प्रति निष्ठा व पार्टी के प्रति समर्पित व सक्रियता को देखते हुऐ माना जा रहा है की इन्हे टिकट मिल सकता है। दूसरे स्थान पर सिंगरौली विधान सभा के पूर्व प्रत्याशी सुरेश शाहवाल हैं जिनके पास दो बार सिंगरौली जिलाध्यक्ष रहने के साथ एकबार विधान सभा का चुनाव लडने का अच्छा खासा अनुभव है। पार्टी में इनकी पकड़ व लोकप्रियता का अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि इनके विधायकी प्रचार में स्वयं बसपा की राष्ट्रीय सुप्रीमो बिलौजी एनसीएल ग्राउंड आईं थीं। इन दो प्रबल दावेदारों के साथ एन सी एल से सेवानिवृत सिष्टा के राष्ट्रीय महासचिव परमहंस प्रसाद की दावेदारी है। पिछले 35 वर्ष से सिष्टा , एससी एस टी संगठनों व बसपा से जुड़े रहें। श्री दास 2020 से अब तक तक सिंगरौली जिला जोन प्रभारी के पद पर कार्यरत हैं। चौथे दावेदार हैं नगर पालिक निगम के पूर्व नेता प्रतिपक्ष व पार्षद लगनधारी वर्मा । जिनके पास नगर निगम का 5 वर्ष का राजनीतिक अनुभव है। बसपा में सच्चे व जुझारू सिपाही के रुप में कार्य करने वाले श्री वर्मा ने भी अपना आवेदन पार्टी को दिया है, यदि मौका मिलेगा तो ये महापौरी चुनाव के मैदान में कूदने को तैयार हैं। बसपा के पांचवे दावेदार रूप में देवसर विधान सभा के पूर्व प्रत्याशी शिवशंकर प्रसाद ने अपनी दावेदारी ठोकी हैं। श्री शंकर बसपा में सेक्टर अध्यक्ष, नगर अध्यक्ष व विधान सभा अध्यक्ष जैसे पद पर रहकर पार्टी की सेवा कर चुके हैं। पार्टी व जनता के प्रति इनके सेवा भाव को देख बसपा ने 2018 में इन्हे देवसर विधान सभा का प्रत्याशी बनाया था ये अलग बात है बीजेपी युवा प्रत्याशी वरिष्ठ विधायक स्व राम चरित्र के पुत्र सुभाष वर्मा के लहर में ठहर नही पाए और पूर्व मंत्री वंशमणि वर्मा के साथ इन्हें भी हार का सामना करना पड़ा था । बसपा पार्टी सूत्रों की माने तो महापौर प्रत्याशी का नाम लगभग फाइनल है आज बीजेपी पार्टी ने प्रत्याशी सस्पेंस का हटाते हुऐ पूर्व ननि अध्यक्ष चंद्रप्रताप विश्वकर्मा के नाम को सार्वजनिक किया है। कल 15 जून को बसपा भी अपने प्रत्याशी का नाम सार्वजनिक करेगी।