---Advertisement---

राष्ट्रीय अभिलेखागार के अभिलेखों का डिजिटलीकरण

Pradeep Tiwari
By
On:
Follow Us

राष्ट्रीय अभिलेखागार के अभिलेखों का डिजिटलीकरण

 

भारतीय राष्ट्रीय अभिलेखागार (एनएआई) ने पिछले तीन वर्षों में अपने अभिलेखों के 4.5 करोड़ पृष्ठों के डिजिटलीकरण का पहला चरण पूरा कर लिया है। 2024 में, एनएआई ने दो वर्षों की अवधि में अपने वर्तमान सभी अभिलेखों के 30 करोड़ पृष्ठों (अस्थायी रूप से) के डिजिटलीकरण के लिए एक और परियोजना शुरू की है।

डिजिटाइज्ड स्कैन किए गए दस्तावेज पोर्टेबल डॉक्यूमेंट फॉर्मेट फॉर आर्काइवल (पीडीएफ-ए), ज्वाइंट फोटोग्राफिक एक्सपर्ट्स ग्रुप (जेपीईजी) और टैग की गई इमेज फाइल फॉर्मेट (टीआईएफएफ) के प्रारूप में हैं। पीडीएफ-ए में डिजिटाइज्ड दस्तावेज हॉट क्लाउड स्टोरेज पर होस्ट किए गए केंद्रीकृत पोर्टल पर अपलोड किए जाते हैं और पीडीएफ-ए, जेपीईजी और टीआईएफएफ भी आर्काइवल क्लाउड स्टोरेज पर संग्रहीत किए जाते हैं। एक प्रति बैकअप के रूप में लीनियर टेप ऑपरेशन (एलटीओ) पर संग्रहीत की जाती है।

सभी डिजिटाइज्ड दस्तावेज जनता के लिए सर्च पोर्टल https://www.abhilekh-patal.in पर मुफ्त में उपलब्ध हैं। वर्तमान में उक्त पोर्टल पर विशिष्ट आगंतुक- 1,87,031, वेबसाइट हिट्स- 13,86,833, रजिस्टर्ड यूजर्स – 28,199, संदर्भ मीडिया- 39,81,383, डिजिटाइज्ड रिकॉर्ड- 5,92,279, डिजिटाइज्ड पेज- 3,38,18,191 हैं।

सर्च पोर्टल के भविष्य के संस्करणों यानी https://www.abhilekh-patal.in में, एनएआई बड़े पैमाने पर जनता के लिए खोज और देखने के अनुभव को बढ़ाने के लिए समय-समय पर उपलब्ध आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) और अन्य नवीनतम तकनीक के उपयोग का पता लगाएगा।

यह जानकारी केंद्रीय संस्कृति और पर्यटन मंत्री श्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने आज राज्यसभा में एक लिखित उत्तर में दी।

Pradeep Tiwari

Pradeep Tiwari

मैं, प्रदीप तिवारी, पिछले 10 वर्षों से पत्रकारिता से जुड़ा हूँ। सबसे पहले, मैं एक स्थानीय समाचार चैनल में एक रिपोर्टर के रूप में शामिल हुआ और फिर समय के साथ, मैंने लेख लिखना शुरू कर दिया। मुझे राजनीति और ताज़ा समाचार और अन्य विषयों से संबंधित समाचार लिखना पसंद है।

For Feedback - urjadhaninews1@gmail.com
Join Our WhatsApp Group

Leave a Comment