आधी रात से ही तेज हवाओं का चला झोखा, ठण्ड से हालत पस्त, दोपहर 12 बजे तक सूर्य देवता के नही हुये थे दर्शन
सिंगरौली जिले में शीतलहर के सितम से ऊर्जाधानी वासी आज सिहर उठे। आज कड़ाके की ठण्ड ने सभी को झकझोर रख दी है। आज मंगलवार को बैढ़न इलाके में दोपहर 12 बजे के बाद किसी तरह सूर्य देवता के दर्शन हुये। लेकिन ग्रामीण अंचलों में सूर्य देवता के दर्शन आज नसीब नही हुये।
दरअसल जिले में पिछले 10 दिनों से कड़ाके की ठण्ड ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। पिछले चार दिनों से शीतलहर की ठण्डी ने सभी के दात को खट्टे कर दे रही है। सोमवार की रात करीब 12 बजे से बैढ़न इलाका समेत आस-पास के क्षेत्रो के साथ-साथ जिले भर में करीब 20 किलोमीटर प्रति घंटे के गति से तेज हवाओं को जो दौर चला जहां सुबह 9 बजे तक शीतलहर का असर रहा है। वही दोपहर में हवा के वेग में कमी आई। लेकिन शीतलहर का सितम थमने का नाम नही लिया और जैसे-जैसे सूर्य देवता ढल रहे थे। उसी गति से ठण्ड में भी इजाफा हो रहा था। आलम यह था कि सूर्य देवता के दर्शन बैढ़न इलाके में बमुश्किल से कुछ घंटो तक के लिए हुआ। वही ग्रामीण अंचलों में कोहरा की तरह धूंध छाया रहा। जिसके चलते ठण्ड और बढ़ गई। जहां अधिकांश लोगबाग घरो के अन्दर ठण्ड से दुबके। वही जगह-जगह शहरी क्षेत्र में अलाव का सहारा लेते रहे। वही यही हाल ग्रामीण अंचलों में था। इस कड़ाके की ठण्ड में सबसे ज्यादा परेशानी मेवशी झेल रहे हैं। हजारों मवेशी झेल रहे हैं। उन्हें खुले आसमान में रात गुजारनी पड़ रही है और आये दिन मवेशी ठण्ड के चलते मर भी रहे हैं। कहने के लिए कुछ जगह गौ शाला जरूर बनाए गये हैं। लेकिन उक्त गौ शाला मवेशियों की संख्या को मद्देनजर नाकाफी साबित हो रहा है। ठण्ड से समूचा जिला ठण्ड से थर-थर काप रहा है। इधर नौनिहाल छात्रों के कई अभिभावको ने 15 जनवरी तक 1 से 8वीं कक्षाओं को बन्द कराने की मांग की है।